रायपुर। देवउठनी एकादशी का पर्व सोमवार को मनाया जाएगा. आज के दिन भगवान विष्णु की पूजा-अर्चना की जाती है। देवउठनी एकादशी के दिन विधि-विधान से पूजा के साथ कुछ नियमों का पालन भी करना होता है। आज से मांगलिक कार्यों की शुरुआत हो जाएगी.
ये करने से बचे-
तुलसी के पत्ते न तोड़े- देवउठनी एकादशी के दिन प्रभु शालीग्राम और माता तुलसी का विवाह कराया जाता है। ऐसे में इस दिन भूलकर भी तुलसी के पत्तों को नहीं तोड़ना चाहिए।तामसिक चीजों का सेवन न करें- एकादशी के दिन सात्विक भोजन करना चाहिए। अगर आप व्रत नहीं रख रहे हैं तो इस दिन साधारण भोजन करना चाहिए। इस दिन मांस-मदिरा आदि का सेवन नहीं करना चाहिए।
चावल का सेवन न करें- एकादशी के दिन चावल का सेवन नहीं करना चाहिए। मान्यता है कि चावल का सेवन करने से व्यक्ति अगले जन्म में रेंगने वाले जीव की योनि पाता है।
वाद-विवाद से बचें- एकादशी तिथि के दिन वाद-विवाद से बचना चाहिए। इस दिन लड़ाई-झगड़ा करने से मां लक्ष्मी नाराज हो सकती हैं।
देवउठनी एकादशी के दिन करें ये काम-
एकादशी के दिन दान करना उत्तम माना जाता है।
एकादशी के दिन संभव हो तो गंगा स्नान करना चाहिए।
विवाह संबंधी बाधाओं को दूर करने के लिए एकादशी के दिन केसर, केला या हल्दी का दान करना चाहिए।
एकादशी का उपवास रखने से धन, मान-सम्मान और संतान सुख के साथ मनोवांछित फल की प्राप्ति होने की मान्यता है।
कहा जाता है कि एकादशी का व्रत रखने से पूर्वजों को मोक्ष की प्राप्ति होती है।